Wednesday, April 1, 2009

मीडिया का देशद्रोह

आज मजबूर होकर मीडिया के बारे मैं लिखने का मन किया। अन्यथा हिन्दुओ पर ही इतने अत्याचार होरहे है की उन्ही को देख देख कर दुःख होता है। परन्तु इस भारतीय मीडिया का हम पर जले पर नमक छिड़कना कतई गवारा नहीं, तभी सोचा इस मीडिया की सचाई भी कहीं उजागर हो रही है या नहीं. इस बिकाऊ मीडिया का इस तरहा का घिनौना रूप देख कर हर कोई दांतों तले ऊँगली दबा ले.
  • अब याद करे एन डी एया की सरकार इस मीडिया ने छदम रूप से (तहलका) दुश्चक्र चलाकर विहू रचना रच कर एक अच्छे खासी चलती सरकार को बदनाम किया गया। उस सरकार को एक जाल मैं फंसा कर बदनाम किया. क्या हुआ उसका परिणाम बस तहलका एक मोहरा बन कर पैसा कमा कर साइड होगया। और आनंद ले रहे यह लोग।
  • दूसरा मीडिया ने कंधार कांड मैं सारा वो ही काम किया जिस से सरकार को आतंकवादियों को लाभ मिले। मीडिया ने आतंकवादियो के एजेंट का काम किया। जब तक आतंकवादी अफगानिस्तान नहीं चले गए सरकार पर दबाव बनाये ही रखा। और जब चले गए तब सरकार की एसी की तेसी अब तक कर रही है। और जनता ने सजा भी इनको दे दी चुनाव हरा कर पर एक ही बात पर मीडिया आज तक लाखो बार मुर्दे मुद्दे पर एक हीआदमी को बार बार फंसी दे रही है।
  • तीसरा सरकार एन डी एया की जब तक रही तब तक हर रोज संघ, विहिप और बजरंग दल की रोज नई कहानी सिल सिलेवार दिखाई गई।
  • चोथा रोजाना सरकार की बखिया उधेडी जाती थी कभी अडवाणी और अटल जी के बीच जंग और कभी ममता समता और जया के बीच। और कुछ नहीं मिला तो बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष बंगारू को पैसे लेते टीवी पर दिखाया गया. और कुछ नहीं तो जूदावे जी का स्टिंग ओपरेशन दिखाया। मतलब एन डी अ की सरकार के छह सालो मैं स्टिंग ओप्रशनो की बाड़ आगई थी. मीडिया ने स्टिंग ओप्रशनो के जरिया हर रोज सरकार की बखिया उधेडी रोज झूटे आरोप लगे.
    और हम इस को माफ़ करते रहे की चलो विपक्ष की भूमिका मैं इस बार मीडिया है. विपक्ष कमजोर हैं इसलिय जनता के हित मैं मीडिया यह काम कर रही है.परन्तु मैं गलत था.मीडिया सरकार की बुराई नहीं कर रही थी मीडिया तो सोनिया, कोमुनिसटों और विदेशी ताकतों के एजेंट का काम कर रही थी. क्यांकि सरकार जाने के बाद भी सिर्फ और सिर्फ हिन्दू संघटन और बीजेपी ही नज़र आई
अब मीडिया का रोल यु पि एया के शासन मैं देखो।
  • राहुल गाँधी ने अमठी मैं कांड किया जिसका की अभिषक मनुसिंघवी ने अमरीका मैं ऍफ़ आई आर दर्ज करा रखी है. परन्तु मजाल है अंतरअष्ट्रीया मीडिया के लाख लिखने पर भी पुरे हिंदुस्तान की मीडिया ने एक लाइन भी लिखी हो. बुरे मैं तो छोडो अच्छे मैं भी जीकर नहीं किया. और वरुण गाँधी के बारे मैं रोज २४ मैं से २३ घंटे एक मात्र वरुण गाँधी को लानत भेजना है. क्योंकि विपक्ष मैं हैं, हिन्दू है।
  • एक स्टिंग ओपरेशन पिछले पञ्च साल मैं नहीं हुआ। पता नहीं तहलका के जाबांज पत्रकार कहां मर्दानगी दिखा रहे है या बीजेपी की सरकार निश्चित मान कर स्टिंग ओपरेशन की तयारी कर रहे है. तरुण तेज पाल का तेज और तरुनाई अब दोनों ही गायब है. उस समय तो ब्लड प्रेशर भी बढ़ रहा था और जौर्नालिसम की नातिकता पर भी बहुत प्रवचन कर रहा था परन्तु अब इसी नातिकता याद नहीं। इस कांग्रेस शासन मैं कांग्रेस ने मीडिया की भी राजनितिक मुद्दों का तो जिक्र ही नहीं करने दिया। लगता है की इन लोगो के मुह भर दिया गए थे जबी तो इतने बड़े बड़े कांड होते हुए भी कोई लडाई की मीडिया मैं खबर नहीं दी परन्तु बीजेपी के शासन मैं अटल अडवाणी जी की हर रोज नई स्टोरी दिखाई गई चाहे झूठीही क्यो न हो इस मीडिया ने.
  • उस बीजेपी की शासन मैं झूटे घोटाले कफ़न घोटाला,
  • तहलका कांड रचा गया
  • परन्तु इस कांग्रेस सोनिया राज मैं सच्चा वोट नोट कांड हुआ इस्रेअल हतियार घोटाला,
  • गेहूं घोटाला,
  • रेल घोटाला,
  • लालू जमीन घोटाला,
  • क्वात्रोची भगाओ कांड,
  • सुखराम कांड,
  • बी आर टी घोटाला,
  • सब्सिडी घोटाला परन्तु मीडिया ने इनकी जानकारी नहीं जनता को दी बस दिखाया तो साँप नागन, भूत प्रेत, ई पि एल का शो
  • और फ़िल्मी कलिया ही खिलाती रही।
  • सोनिया मनमोहन कृष्ण सुदामा लगते रहे
  • राहुल प्रियंका आँखों के दो नूर लगते।
  • यु पी एया का झगडा प्यार भरी मनुहार लगती रही।
  • कोम्निस्टओ का सरकारछोड़ना प्रियतमा का रूटना लगता रहा।
  • लालू की बेटी के साथ पढने वाला अभिषेक (हत्या का संदेह) एक हादसा ही लगा रहा।
  • सोनिया त्याग की देवी और अडवाणी इनको फूटी आंख नहीं भाया।
  • सरकार कांग्रेस और घटकों की परन्तु स्टिंग ओपरेशन बचारे संजय जोशी का. जो की जनता के लिया बिलकुल अनजान चेहरा (परन्तु मीडिया का तो भाड़े पर काम था )

यह तो बहुत लम्बी फहरिस्त होजयगी।

सवाल यह है की मीडिया कांग्रेस के शासन मैं उठा क्या रही थी -

  • अडवाणी का पाकिस्तान मैं जिन्ना पर बयान।
  • राजनाथ और अडवाणी का (झूठा ही सही)
  • मोदी का जलता गुजरात।
  • हिन्दुओ का कंधमाल मैं पर्दर्शन दिखाया परन्तु स्वामी जी की हत्या और इसईओ का हिंसा का तांडव नहीं दिखा
    राम सेतु है ही नहीं, अमरनाथ है ही नहीं
  • बाबु बजरंगी ही देश का कोई बहुत बड़ा नेता है जो उसी के बयान दिखा ते रहे।
  • जम्मू पर हिन्दुओ का जलूस अत्याचार बताया गया और श्रीनगर मैं हिंसा का नंगा नाच नहीं दिखा.
  • उमा का अडवाणीजी को मीडिया के सामने आरोपित।

ऐसी ही लाखो घटनाओ का जिक्र नहीं था, सरकार ने पांच साल शासन किया है परन्तु सरकार के विरुद्ध एक भी टिप्पणी नहीं किसी भी समाचार पत्र या चैनल मैं. न कोई आन्दोलन। न कोई अभियान। है तो बस कांग्रेस सरकार की चटोकारिता और त्याग की देवी का महिमा मंडन.
हाँ अभी स्टोरी ख़तम नहीं याद रखो यदि बीजेपी की सरकार आगई तो अब आप फिर से नाग नगन और भूत प्रेत और हीरो हेरोइन नहीं देख पायंगे सारी की सारी मीडिया तुंरत राजनीती के केंद्र मैं आकर फिर से आम आदमी के मुद्दे यानि की बीजेपी हिन्दू विरोध उठआयगी जैसे -

  • नीतिश और अडवाणी का टकराओ।शरद यादव का अडवाणी से झगडानए संघचालक भगवत जी और सरकार से टकराओ।हिन्दू संघटनओ का मुस्लिमो पर अत्याचार।,बीजेपी का हिन्दू हितों पर जेडीयू से टकराओ।,राजनाथ मोदी और जेटली मैं कल्हे, अडवाणी जी संघ के विरोध मैं बोले।वरुण बीजेपी के लिय भस्मासुर, मोदी की अडवाणी जी से नाराजगी, संघ भारत को कैसे हिन्दू राष्ट्र बना रहा है।,जोशी जी संघ के साथ पर अडवाणी जी से मतभेद)
  • तो कुछ कुछ इस प्रकार की ही रिपोर्टिंग माने आप की होगी ही। सोनिया राज मैं पांच साल आपने न्यूज़ चैनल मनोरंजन चैनल बने रहे और अब फिर दोबारा से बीजेपी के सरकार बना लेने से दोबारा राजनेतिक न्यूज़ ही देंगा अच्छा अब फिर आप इनसे कहोगे की इस प्रकार की एक तरफा न्यूज़ ही क्यों दिखा रहे हो तो जवाब देंगे की पहेले आप लोगो की आलोचना करने पर ही तो हम राजनेतिक न्यूज़ दिखा रहे हैं और आप फिर से हम न्यूज़ चनलो की आलोचना कर रहे हो.

तो दोस्तों इस साजिश को समझे और भारत की इस बिकाऊ नाटक अपने पटाक्षेप करे नहीं तो दलाल संस्कृति न केवाल राष्ट्र को बल्कि आपके घर को भी निगल जायगी. बीजेपी की सरकार बन ने पर आप पूरी तरेह से इस नंगे परन्तु सचे नाच को देख सकते है।

परन्तु दुःख के साथ कहना पड़ता है की तबआप नाग नागन और भूत प्रेत की कहानी नहीं देख पाएंगे देखेंगे तो बस हिन्दू परिवार(संघ परिवार) की हर व्यक्तिगत बात अपने ही (सेल्फ मेड) स्टिंग ओपरेशन. तो तैयार रहे स्टिंग ओपरेशन देखने को और मीडिया के वीर फौजियो vir faujio की ललकार को suneneसुनने को जो पिछले पांच सालो अपने नही सुनी थी क्योंकि पुराने पैसे पर पलकर आराम कर रहे थे जो अब तैयार है. यह देशद्रोह नहीं तो क्या है???????????????

2 comments:

  1. बिलकुल सही लिखा है बन्धु. पूर्णतः सहमत. आज का मीडिया और खासकर इलेक्ट्रानिक मीडिया एक एजेंडे के तहत काम कर रहा है और "पैसे के लिए साला कुछ भी करेगा.........." के फंडे पर चल रहा है.

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  2. लघभग सारे के सारे चेनल हिन्दू विरोधी है ................

    खबरिया चेनल केवल हिन्दू विरोधी विचारधारा रखते है क्यों की लघभग सारे के सारे न्यूज़ बनाने वाले लाल सलाम वालों की वर्ण संकर औलादें है जो या तो पश्चिम का चस्मा या चीन का चश्मा पहन कर खबर बनाते है, अभी हाल ही मैं उनके अनुसार वरुण ने तो जहर उगला था और एक और उसी का भाई भारतीय युवाओं का प्रतिनिधित्व करता है (जैसे की एक और विवेकानंद हो) |

    अन्य सभी मनोरंजन चेनल केवल सांस्कृतिक आक्रमण का काम कर रहे है | क्यों की इसके बिना इनका मॉल नहीं बिक सकता | (ये सभी बहुराष्ट्रीय कंपनियों के दलाल का काम कर रहे है )

    इनको चलाने वालों व इनके वित्त का पोषण करने वालों के लिया भारत केवल एक बाजार है जिसमे अपनी भोगवादी विचारधारा का प्रसार करने का माध्यम है यह बुद्धू बक्सा |
    यह बहुत बड़ा षडयंत्र है हमारे राष्ट्र की खिलाफ, हमारे सनातन धर्म के खिलाफ, हमारी विचारधारा की खिलाफ, लगभग ऐसे ही लोगो की भर्ती की जाती है इन खबरिया चेनलो मैं जो केवल हिन्दुओं के महत्त्व के खिलाफ जहर उगल सकें |

    इसकी जांच होनी चाहिए चाहे आप सहमत न हो पर मेरा मानना है की इस मीडिया मैं राष्ट्रद्रोहियों का भी पैसा लगा हुआ है पहले ये लोग हिंदी फिल्मो मैं भी लगा चुके हैं, और उनको खुश करने के लिए किसी भी हद तक जाने वाले ये धर्म विरोधी, वर्ण शंकर लोग कोई भी मौका नहीं छोड़ना चाहते हमें नीचा दिखाने मैं

    और हमारी मजबूरी है की हमें टी वी देखना है | और इसपर इन देश द्रोहियों का कब्जा हो चूका है |
    एक क्रांति की आवश्यकता है |
    एक गाल पर चांटा खाने के बाद दूसरा गाल आगे करने की शिक्षा देने वाले
    तो
    दूसरी तरफ लाल खुनी क्रांति करने वालों की संताने एक है

    कितना विरोधाभास है

    क्यों है ?


    केवल इसलिए की हम एक न हो सके
    इसलिए ऐसे घोर विरोधी एक हो रहे है |
    और इन्ही लोगो का मीडिया पर अधिकार है |

    क्रांति कोई और नहीं
    बस करना ये है की
    हम सब हिन्दू एक हो जाये , सभी मुददों पर

    तो ये अपने आप समाप्त हो जायेंगे |

    जय श्री राम

    और अगर इनको जल्दी से जल्दी समाप्त करना है तो
    संघ के साथ साथ

    प्रत्येक हिन्दू को राजनीती मैं भी भाग लेना होगा, बढ़ चढ़ कर
    क्यों की इन राक्षसों की जान राजनेतिक कुर्सी मैं है, उस पर हिन्दू हित की बात करने वाली पार्टी को बिठाना होगा | अगर ऐसा हुआ तो इनके प्राण पखेरू उड़ जायेंगे |
    (वर्तमान मैं केवल बी जे पी ही दिखाई देती है)

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